भारत 2035 तक स्पेस स्टेशन स्थापित करने की तैयारी में है। स्पेस स्टेशन उपग्रह हैं जो अंतरिक्ष में अनुसंधान के लिए बनाए गए हैं।
पहला स्पेस स्टेशन सैल्यूत-1 था जिसे 1971 में सोवियत संघ ने छोड़ा था। अमरीका का पहला स्पेस स्टेशन 'स्काईलैब' था, जिसे 'नासा' ने 14 मई, 1973 को अंतरिक्ष में भेजा था। 1977-78 में सौर लपटों से इसे नुकसान पहुंचा और जुलाई, 1979 में जलकर इसके अवशेष समुद्र में गिर गए।
सोवियत संघ ने 1986 में 'मीर' स्टेशन भेजा, जिसने 2001 तक काम किया। वह मॉड्यूलर था, यानि इसका एक हिस्सा पहले भेजा गया, फिर धीरे-धीरे अंतरिक्ष में छोटे हिस्से सैटेलाइटों में रखकर भेजे गए और उन्हें जोड़कर बड़ा बनाया गया। अमरीका ने 80 के दशक में 'फ्रीडम' नाम से मॉड्यूलर स्पेस स्टेशन भेजने की योजना बनाई थी, जो फलीभूत नहीं हुई। इसके बाद 'इंटरनेशनल स्पेस स्टेशन' भेजा गया, जिसमें 'नासा' के साथ रूसी, जापानी, कनाडा और यूरोपियन स्पेस एजेंसियों ने मिलकर काम किया था।
चीन का स्टेशन 'तियांगोंग' भी इस समय कक्षा में है, जिसका पहला मॉड्यूल 29 अप्रैल 2021 को भेजा गया था।
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