राज्य के नवगठित नगर निकायों में कार्यालय संचालन को सुचारू एवं व्यवस्थित करने के उद्देश्य से नगर विकास एवं आवास विभाग ने 120 नए नगर निकायों में से 15 नगर निकायों में प्रशासनिक भवन के निर्माण का आदेश जारी कर दिया है। इसमें तीन पुराने नगर परिषद- तेघड़ा, बलिया एवं शिवहर भी शामिल हैं, जिनके पास अभी तक अपना कार्यालय भवन उपलब्ध नहीं था।
नगर विकास एवं आवास विभाग के आदेश में स्पष्ट किया गया है कि नगर निकायों का कार्य व्यवस्थित तरीके से संचालित करने हेतु उनके पास स्थायी कार्यालय भवन का होना जरूरी है। विभाग ने नए नगर निकायों को आदेश दिया है कि यदि कार्यालय किसी अन्य भवन या किराये के मकान में संचालित हो रहा है, तो निर्धारित मॉडल प्राक्कलन के अनुरूप नई भूमि का चयन कर अंचलाधिकारी से अनापत्ति प्रमाण पत्र प्राप्त करते हुए उसे विभाग को उपलब्ध कराया जाए, ताकि भवन निर्माण की प्रक्रिया शुरू किया जा सके।
नगर विकास एवं आवास मंत्री जिवेश कुमार ने कहा है कि शहरी विकास को गति देने के लिए नए नगर निकायों में जल्द ही स्थायी प्रशासनिक भवनों का निर्माण शुरू कराया जाएगा। उन्होंने कहा कि जिन नए नगर निकायों का कार्यालय समुदायिक भवन में, प्रखंड कार्यालय में, किराये पर या किसान भवन अथवा अन्य भवन में चल रहा है, उन नगर निकायों को भूमि की विवरणी, नजरी नक्शा एवं अनापत्ति सहित प्रस्ताव विभाग को उपलब्ध कराने का निर्देश दिया गया है।
तीन नगर परिषद के अलावा जिन नए नगर पंचायतों में प्रशासनिक भवन के निर्माण का आदेश जारी किया गया है उनमें अकबरनगर, पावापुरी, कटोरिया, शेखोपुर सराय, परबत्ता, हसनपुरा, इटाढ़ी, काको, मुरौल, घोसी, चण्डी और सरैया शामिल हैं।
नगर विकास एवं आवास विभाग के सचिव अभय कुमार सिंह ने कहा कि नगर सरकार भवन/ प्रशासनिक भवन निर्माण हेतु नगर परिषद के लिए 16 हजार वर्गफीट और नगर पंचायत के लिए 10,760 वर्गफीट जमीन की आवश्यकता होती है। उन्होंने बताया कि नगर पंचायत क्षेत्र में बनने वाले प्रशासनिक भवन के लिए लगभग ढाई करोड़ (2.49 करोड़ रुपये) की लागत से निर्माण कार्य होगा, वहीं नगर परिषद में बनने वाले प्रशासनिक भवन के लिए लगभग पांच करोड़ (4.98 करोड़ रुपये) की लागत से निर्माण कार्य किया जायेगा। इसके लिए सारी तैयारियां पूरी कर ली गई हैं।
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