नवंबर की शुरुआत में प्रदेश के मौसम ने करवट ले ली है। राजधानी पटना सहित बिहार के कई इलाकों में सर्द हवाओं ने दस्तक दी है, जिससे दिन में हल्की धूप के बावजूद रात-और-सुबह का समय कड़क ठंड महसूस हो रहा है। आंकड़ों के मुताबिक अधिकतम तापमान में गिरावट दर्ज हो रही है, और न्यूनतम तापमान में भी कमी आई है — साथ ही हवा की गुणवत्ता पर भी चिंता बढ़ गई है।
मौसम विभाग के अनुसार पछुआ हवा चलने तथा हिमालयी-क्षेत्र में हो रही बर्फबारी की वजह से ठंडी हवाएं बिहार की ओर बढ़ रही हैं। इसके परिणामस्वरूप 15 नवंबर के बाद तापमान में और तेजी से गिरावट आने का अनुमान है, और न्यूनतम तापमान 12-13 डिग्री सेल्सियस तक पहुंचने की संभावना है।
वहीं वायु प्रदूषण का स्तर भी हाल-फिलहाल चिंता का विषय हो गया है। सुबह-शाम की नमी बढ़ने और हवा स्थिर रहने से धूल-कण व अन्य प्रदूषक हवा में अधिक समय तक ठहर सकते हैं। कुछ जिलों में वायु गुणवत्ता अंक (AQI) यलो या उससे ऊपर दर्ज हो चुके हैं, जिसका असर स्वास्थ्य पर पड़ सकता है—विशेषकर बच्चों, बुजुर्गों और श्वसन रोगों वाले लोगों पर।
इस तरह की मौसम-प्रस्तुति में कुछ सुझाव बेहतर होंगे: सुबह-शाम समय पर गर्म कपड़े पहनना, ठण्ड लगने पर बाहर निकलने से पहले स्थिति देखना, धूप निकलने पर भी हल्के परिधान न चुनना, और वायु गुणवत्ता के अनुरूप मास्क या अन्य सुरक्षा उपाय अपनाना।
अगर चाहें, तो मैं आगामी 7-दिनीय मौसम पूर्वानुमान और संभावित वाह्य उपाय (जैसे वायु-शुद्धिकरण, बच्चों-बुज़ुर्गों की देखभाल) भी भेज सकता हूँ।
