परियोजना निदेशक की ओर से जारी आदेश में, राजस्थान सरकार स्वास्थ्य योजना (आरजीएचएस) के तहत राज्य चिकित्सकों के लिए नियम बनाए गए हैं, कि ओपीडी के मरीजों की चिकित्सा पर्ची पर चिकित्सकों द्वारा तर्क के साथ दवा लिखनी होगी। उसमें यह भी लिखना होगा कि मरीज़ को किस बीमारी के कारण इस दवा की जरूरत है। साथ ही, रोगी के चिकित्सा इतिहास का संक्षिप्त सारांश भी लिखना होगा। पुरानी बीमारियों जैसे मधुमेह, उच्च रक्तचाप, अस्थमा आदि का भी उल्लेख करना होगा। जांच के दौरान रोगी की ओर से बताई जाने वाली शिकायतों को भी स्पष्ट रूप से लिखना होगा। यह नियम निजी और सरकारी दोनों अस्पताल पर लागू होंगे।
नियम के अनुसार, चिकित्सक की ओर से मरीज की जांच कराने की पर्ची पर रक्त परीक्षण, इमेजिंग (एक्सरे, एमआरआई, सीटी स्कैन आदि), ईसीजी को लिखना होगा। लम्बित जांच के परिणाम और अनुवर्ती आवश्यकताओं को भी मरीज की पर्ची में शामिल करना होगा। पर्ची पर दवा लिखने वाले चिकित्सक की मुहर और हस्ताक्षर होना जरूरी होगी।
चिकित्सक द्वारा पर्ची पर स्पष्ट और पठनीय लिखावट में लिखना होगा। पर्ची पर ओवरराइटिंग से बचना होगा और ओवरराइटिंग होने पर हर सुधार पर चिकित्सक को हस्ताक्षर करना होगा। दवा का नाम और दवा का खुराक बड़े अक्षरों में लिखना होगा।
