बिहार सरकार ने मुखिया, उप मुखिया, वार्ड सदस्य, सरपंच, उप सरपंच और पंच सहित पंचायत प्रतिनिधियों के मानदेय (भत्ता) में 50% तक वृद्धि करने का ऐतिहासिक निर्णय लिया है
मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के मुताबिक, यह वृद्धि पंचायतों पर जनप्रतिनिधियों के सशक्तिकरण और पंचायत राज व्यवस्था को मजबूत करने के उद्देश्य से की जा रही है
उन्होंने कहा कि 2005 से पंचायतों में पक्की गली–नाली, जल–बिजली पहुँचाने जैसे काम हुए हैं, और अब भत्तों में यह वृद्धि उनके समर्पण को मान्यता देने का कदम है
वर्तमान और संभावित नए भत्ते
पद | वर्तमान भत्ता (रु.) | 50% वृद्धि के बाद |
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जिला परिषद अध्यक्ष | 12,000 | 18,000 |
उपाध्यक्ष जिला परिषद | 10,000 | 15,000 |
पंचायत समिति प्रमुख | 10,000 | 15,000 |
उप-प्रमुख पंचायत समिति | 5,000 | 7,500 |
ग्राम पंचायत मुखिया | 2,500 | 3,750 |
उप-मुखिया | 1,200 | 1,800 |
ग्राम कचहरी सरपंच | 2,500 | 3,750 |
उप-सरपंच | 1,200 | 1,800 |
जिला परिषद सदस्य | 2,500 | 3,750 |
पंचायत समिति सदस्य | 1,000 | 1,500 |
ग्राम पंचायत सदस्य | 500 | 750 |
ग्राम कचहरी पंच | 500 | 750 |
ये फ़ायदे उन लोगों के लिए बेहद मायने रखते हैं जो परिश्रम से गांव और पंचायतों में कार्य कर रहे हैं।
नीतीश कुमार ने पंचायत प्रतिनिधियों से आग्रह किया कि वे समाज के हर तबके को साथ लेकर विकास कार्यों पर सतत निगरानी रखें यह भत्ता वृद्धि न सिर्फ प्रतिनिधियों की मेहनत की मान्यता बल्कि उनकी आर्थिक स्थिति को भी मजबूत करेगी, जिससे पंचायत स्तर पर काम करने वाले लोग और अधिक उत्साह और प्रभाव से जनता के हित में कार्य करेंगे।