क्रिकेट के सबसे लंबे प्रारूप टेस्ट मैच में समय का प्रबंधन बेहद अहम होता है, और इस बार इंग्लैंड की टीम को इस नियम की अनदेखी भारी पड़ गई है। भारत के खिलाफ प्रतिष्ठित लॉर्ड्स मैदान पर खेले गए तीसरे टेस्ट के दौरान धीमी ओवर गति के कारण अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट परिषद (ICC) ने इंग्लैंड पर सख्त कार्रवाई करते हुए न केवल अंक काटे हैं, बल्कि आर्थिक जुर्माना भी लगाया है।
लॉर्ड्स टेस्ट में इंग्लैंड ने निर्धारित समय में पर्याप्त ओवर नहीं फेंके। ICC की ओवर रेट नियमों के तहत किसी भी टीम को प्रत्येक घंटे में न्यूनतम 15 ओवर फेंकने होते हैं। लेकिन इंग्लैंड की टीम इस मानक पर खरी नहीं उतर सकी। परिणामस्वरूप, ICC ने इंग्लैंड से विश्व टेस्ट चैंपियनशिप (WTC) के दो महत्वपूर्ण अंक काट लिए हैं। यही नहीं, टीम के प्रत्येक खिलाड़ी की मैच फीस का 10 प्रतिशत भी जुर्माने के रूप में काटा गया है।
अंक कटने के चलते इंग्लैंड को विश्व टेस्ट चैंपियनशिप की तालिका में एक स्थान का नुकसान उठाना पड़ा है। इससे पहले इंग्लैंड दूसरे स्थान पर काबिज था, लेकिन अब वह तीसरे स्थान पर खिसक गया है। WTC की इस दौड़ में हर एक अंक अहम है, और ऐसे में यह सजा इंग्लैंड के लिए बड़ा झटका माना जा रहा है।
इंग्लैंड के कप्तान बेन स्टोक्स पहले से ही दबाव में हैं क्योंकि टीम लगातार समय प्रबंधन और रणनीति को लेकर आलोचना का सामना कर रहा है। धीमी ओवर गति को लेकर उन्हें कप्तान के रूप में जिम्मेदार ठहराया गया है, और ICC की यह कार्रवाई उनके नेतृत्व पर भी सवाल खड़ा कर रहा है।
ICC की ओर से जारी बयान में कहा गया है कि "इंग्लैंड टीम ने लॉर्ड्स टेस्ट में निर्धारित समय सीमा में 2 ओवर कम फेंके, जो WTC नियमों के तहत उल्लंघन है।" इस वजह से दो अंक काटे गए और जुर्माना लगाया गया।
इस घटनाक्रम से भारत को अप्रत्यक्ष रूप से लाभ हुआ है। विश्व टेस्ट चैंपियनशिप की दौड़ में इंग्लैंड के अंक घटने से भारत के शीर्ष स्थान को और मजबूती मिली है। भारत पहले से ही इस चैंपियनशिप में अच्छा प्रदर्शन कर रहा है।
इंग्लैंड को यह सबक जरूर याद रहेगा कि टेस्ट क्रिकेट केवल तकनीकी और रणनीतिक खेल ही नहीं, बल्कि समय की पाबंदी का भी खेल है। WTC की कड़ी प्रतिस्पर्धा में हर एक ओवर, हर एक मिनट और हर एक अंक का महत्व है। इंग्लैंड की इस गलती ने न सिर्फ अंक गंवाए, बल्कि अन्य टीमों को शीर्ष पर पहुंचने का सुनहरा मौका भी दे दिया है।
