जम्मू-कश्मीर के पहलगाम में हुए आतंकवादी हमले के बाद भारत और पाकिस्तान के बीच तनाव चरम पर पहुंच गया है। पाकिस्तान के रक्षा मंत्री ख्वाजा आसिफ और प्रधानमंत्री शहबाज शरीफ ने भारत को परमाणु हमले की धमकी दी है, जबकि भारत ने अपनी सैन्य तैयारियों को और मजबूत किया है।
पाकिस्तान की परमाणु धमकी: खोखली या खतरनाक?
पाकिस्तान के रक्षा मंत्री ख्वाजा आसिफ ने कहा है कि उनकी सेना हर परिस्थिति के लिए तैयार है और परमाणु हथियारों का उपयोग करने से नहीं हिचकिचाएगी। प्रधानमंत्री शहबाज शरीफ ने भी चेतावनी दी है कि अगर भारत ने कोई दुस्साहस किया तो 2019 की तरह जवाब दिया जाएगा।
हालांकि, विशेषज्ञों का मानना है कि पाकिस्तान की ये धमकियां अधिकतर राजनीतिक बयानबाजी हैं। भारत की सैन्य शक्ति और रणनीतिक तैयारियों के सामने पाकिस्तान की परमाणु धमकी खोखली प्रतीत होती है।
भारत की सैन्य शक्ति: राफेल और ब्रह्मोस का प्रभाव
भारत ने हाल ही में फ्रांस से राफेल लड़ाकू विमानों की एक नई खेप प्राप्त की है, जो परमाणु हथियार ले जाने में सक्षम हैं। इसके अलावा, भारत के पास ब्रह्मोस सुपरसोनिक क्रूज मिसाइलें हैं, जो पाकिस्तान के किसी भी हिस्से को कुछ ही मिनटों में निशाना बना सकती हैं।
इन आधुनिक हथियारों के साथ, भारत की वायु सेना और नौसेना ने अपनी युद्धक क्षमता को काफी बढ़ा लिया है, जिससे पाकिस्तान की किसी भी आक्रामक कार्रवाई का मुंहतोड़ जवाब दिया जा सकता है।
पाकिस्तान की आर्थिक स्थिति: युद्ध के लिए तैयार नहीं
पाकिस्तान की आर्थिक स्थिति भी युद्ध के लिए अनुकूल नहीं है। दिसंबर 2024 तक, पाकिस्तान पर 131.1 बिलियन डॉलर का बाहरी कर्ज था, जिससे हर पाकिस्तानी नागरिक पर लगभग 1.45 लाख रुपए का कर्ज है। एक और युद्ध पाकिस्तान की आर्थिक स्थिति को और बदतर बना सकता है।
अंतरराष्ट्रीय प्रतिक्रिया और कूटनीतिक प्रयास
संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद (UNSC) ने भारत और पाकिस्तान के बीच बढ़ते तनाव पर चर्चा के लिए एक आपातकालीन बैठक आयोजित की है। अंतरराष्ट्रीय समुदाय ने दोनों देशों से संयम बरतने और कूटनीतिक समाधान खोजने की अपील की है।
संयम और कूटनीति की आवश्यकता
भारत और पाकिस्तान के बीच बढ़ते तनाव के इस दौर में, दोनों देशों को संयम बरतने और कूटनीतिक समाधान खोजने की आवश्यकता है। परमाणु हथियारों की धमकियां न केवल क्षेत्रीय बल्कि वैश्विक शांति के लिए भी खतरा हैं। भारत की सैन्य शक्ति और रणनीतिक तैयारियों के सामने पाकिस्तान की धमकियां खोखली प्रतीत होती हैं, और युद्ध किसी के हित में नहीं है।