फर्जी वेबसाइटों से सावधान - पासपोर्ट और वीजा सिर्फ सरकारी वेबसाइट से ही बनवाएं

Jitendra Kumar Sinha
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बिहार में पासपोर्ट और वीजा आवेदन से जुड़ी बढ़ती ठगी की घटनाओं पर संज्ञान लेते हुए एडीजी कुंदन कृष्णन ने नागरिकों से सतर्क रहने की अपील की है। उन्होंने कहा है कि पासपोर्ट और वीजा जैसी महत्वपूर्ण सरकारी सेवाओं के लिए, केवल अधिकृत सरकारी वेबसाइटों और एजेंसियों का ही उपयोग करें। उन्होंने विशेष रूप से युवाओं को चेतावनी दी है कि निजी वेबसाइटों और एजेंसियों के झांसे में न आएं।

पटना के रीजनल पासपोर्ट ऑफिस (RPO) के बाहर सक्रिय दलालों का नेटवर्क, युवाओं को झूठे सपने दिखाकर अपने जाल में फंसा रहा है। ये दलाल दूर-दराज के जिलों से आए युवाओं से मोटी रकम लेकर उनका पासपोर्ट आवेदन फर्जी वेबसाइटों के जरिये करते हैं। बाद में वे ना तो सही दस्तावेज़ देते हैं और ना ही पासपोर्ट प्रक्रिया पूरा करते हैं। इससे न केवल युवाओं का समय और पैसा बर्बाद होता है, बल्कि वे कानूनी संकट में भी फंस सकते हैं।

एडीजी कृष्णन ने बताया कि कई निजी एजेंसियां खाड़ी देशों (Gulf) और दक्षिण-पूर्वी एशियाई देशों में रोजगार दिलाने का दावा करती हैं, लेकिन सच्चाई इससे काफी अलग होता है। कई मामलों में युवाओं को ऐसे देशों में भेजा जाता है, जहां उनका पासपोर्ट जब्त कर लिया जाता हैं और उनसे जबरन मजदूरी करवाया जाता है। यह मानव तस्करी का एक संगठित रूप बन चुका है, जिससे युवाओं को बचाना बहुत जरूरी है।

पासपोर्ट और वीजा से जुड़ी सेवाओं के लिए भारत सरकार ने Passport Seva नामक आधिकारिक पोर्टल (www.passportindia.gov.in) शुरू किया है। इसके अतिरिक्त विदेश मंत्रालय द्वारा पंजीकृत अधिकृत ट्रैवल एजेंटों की सूची भी, इसी पोर्टल पर उपलब्ध है। नागरिकों को चाहिए कि वे किसी भी आवेदन करने से पहले, इन एजेंटों की वैधता की जांच अवश्य करलें।

सूत्रों के अनुसार, यदि किसी नागरिक को पासपोर्ट, वीजा या विदेश यात्रा से जुड़ी किसी भी प्रकार की जानकारी चाहिए, तो वे पासपोर्ट सेवा केंद्र (PSK), मिनी पासपोर्ट सेवा केंद्र (Mini PSK), विदेश मंत्रालय की आधिकारिक वेबसाइट और निकटतम भारतीय दूतावास या कांसुलेट से सहायता प्राप्त कर सकते हैं।

आज के डिजिटल युग में जहां एक ओर ऑनलाइन सेवाओं ने जीवन को सरल बनाया है, वहीं दूसरी ओर ठगों ने इसे अपना हथियार बना लिया है। खासकर युवा वर्ग को आकर्षक नौकरियों का झांसा देकर ठगना आम बात हो गई है। ऐसे में नागरिकों को चाहिए कि वे किसी भी अनजान वेबसाइट, सोशल मीडिया विज्ञापन या मोबाइल कॉल्स के बहकावे में न आएं।



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